महिला का 'सरनेम' था ऐसा कि हर नौकरी से हो जाती थी रिजेक्‍ट, मजाक भी उड़ाते थे लोग, जानिए क्‍या था ऐसा

किसी भी व्‍यक्ति के लिए उसका सरनेम ही उसकी अलग पहचान होती है। ये उसके पैदा होने के बाद अपने माता-पिता, परिवार, या फिर समुदाय की तरह से मिलता है। लेकिन असम में एक महिला को उसका सरनेम उसके लिए मुसीबत बन गया और यहां तक कि उसके नौकरी के लिए आवेदन को ठुकरा दिया गया। महिला का नाम प्रियंका है और वो गुवाहाटी की रहने वाली है। प्रियंका ने सरकारी कंपनी नेशल सीड कॉर्पोरेशन लिमिटेड (NSCL) में नौकरी के लिए ऑनलाइन आवेदन भरने की कोशिश कर रही थी लेकिन उसके सरनेम के चलते वेबसाइट और सॉफ्टवेयर उनके एप्लीकेशन को रिजेक्ट कर दे रहा था। विस्‍तार से जानिए



क्‍या है प्रियंका का सरनेम जिससे हो रही है मुसिबत

प्रियंका का सरनेम Chutia (चू***)है। ऐसे में ऑनलाइन सॉफ्टवेयर इस शब्‍द को बार बार रिजेक्‍ट कर दे रहा था! इससे वह जॉब के लिए अप्‍लाई नहीं कर पाईं। आपको बता दें कि असम में एक आदिवासी जनजाति है। प्रियंका इसी जनजाति से हैं। इसमें लोगों के दो सरनेम होते हैं। पहला Chutia और दूसरा Sutiya (सूतिया)। माना जाता है कि ये जनजाति मूलरूप से मंगोलिया के चीन और तिब्‍बती परिवारों के वंशज होते हैं।

प्रियंका ने फेसबुक पर निकाली भड़ास

प्रियंका ने सरकारी जॉब एप्‍लीकेशन रिजेक्‍ट होने के बाद अपनी भड़ास फेसबुक पर निकाली। उन्‍होंने वहां लिखा कि वह जहां भी जॉब के लिए या इंटरव्‍यू के लिए जाती हैं तो लोग उनके सरनेम को जानकर उनका मजाक उड़ाने लगते हैं। प्रियंका ने लिखा कि सरकारी कंपनी में उनकी ऑनलाइन जॉब एप्‍लीकेशन इसलिए रिजेक्‍ट कर दी गई, क्‍योंकि वहां उनसे कहा जा रहा था कि यह सरनेम गलत है, सही सरनेम लिखिए। उन्‍होंने लिखा, 'मैं काफी दुखी हूं और लोगों को यह समझाकर थक चुकी हूं कि मेरा सरनेम कोई गलत शब्‍द नहीं है, बल्कि यह हमारी जनजाति का टाइटल है।'

बाद में कंपनी ने इंटरव्‍यू के लिए बुलाया

प्रियंका ने अपने समुदाय के लोगों से भी सोशल मीडिया पर फालतू की बहस छोड़कर इस मद्दे पर काम करने की अपील की। बता दें कि निजी तौर पर (NSCL) से शिकायत करने के बाद उनके जॉब एप्लीकेशन को कंपनी की तरफ से स्वीकार कर लिया गया। बाद में उसे इंटरव्‍यू के लिए बुलाया गया

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